Ahmedabad: विदेशी पार्सलों से 3.45 करोड़ की ड्रग्स जब्त, इन देशों से भेेजेे गए

Ahmedabad: विदेशी पार्सलों से 3.45 करोड़ की ड्रग्स जब्त, इन देशों से भेेजेे गए

Ahmedabad. अमरीका, कनाडा और थाईलैंड से आए पार्सलों से एक बार फिर ड्रग्स बरामद हुई है। इन पार्सलों को खोलकर की गई जांच में शहर क्राइम ब्रांच ने 3.45 करोड़ रुपए की ड्रग्स बरामद की है। इसमें हाइब्रिड गांजा, चरस, एमडी ड्रग्स व अन्य नशीले पदार्थ बरामद हैं। इन्हें खिलौने, कपड़े, खाद्यपदार्थ के पैकेेट, प्रोटीन पावडर की आड़ में छिपाकर भेजा गया था। शहर क्राइम ब्रांच ने गुरुवार को इस संबंध में प्राथमिकी दर्ज की है।

क्राइम ब्रांच के उपायुक्त अजीत राज्यान ने बताया कि सूचना के आधार पर विदेशों से आने वाले पार्सलों की शाहीबाग स्थित विदेश डाकघर में कस्टम अधिकारियों के साथ मिलकर जांच की गई। 105 पार्सलों की जांच करने पर उसमें से नशीले पदार्थ मिले हैं। 3.45 करोड़ रुपए कीमत के नशीले पदार्थों की बरामदगी हुई है।

तीन करोड़ का 10 किलो से ज्यादा हाइब्रिड गांजा

सबसे ज्यादा 10 किलो 550 ग्राम हाइब्रि़ड गांजा बरामद हुआ है, जिसकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में कीमत 3.12 करोड़ रुपए है। 24.80 लाख रुपए कीमत की 248 ग्राम एमडी ड्रग्स, 3.95 लाख रुपए कीमत की 79 ग्राम चरस, केनाबिल ऑयल 32 कांच की बोतल( प्रति बोतल 5 एमएल) कीमत, आइसोप्रोपाइल नाइट्रेट की 6 बोतल बरामद हुई हैं।

डार्क वेबसाइट से बुकिंग, पार्सलों के पते गलत, अधूरे

राज्यान ने बताया कि इन पार्सलों की बुकिंग और उनमें दिए गए पतों की प्राथमिक दृष्टि से अब तक की गई जांच में पता चला है कि ज्यादातर के पते फर्जी हैं और अधूरे हैं। इनकी बुकिंग और पेमेंट डार्क वेबसाइट के जरिए होने की आशंका है।

पता न चले इसलिए खिलौने, खाद्यपदार्थ में छिपाए

विदेश से आए पार्सलों में ड्रग्स या हाइब्रिड गांजा है। यह बात जल्द पता न चले इसलिए इन्हें बच्चों के सॉफ्ट टॉय, खाद्य पदार्थ के पैकेज, प्रोटीन पावडर के पैकेट में छिपाकर एयर टाइट पैकिंग करके भेजा गया था।

अमरीका, कनाडा, थाईलैंड से ज्यादा आए

जब्त किए गए 105 पार्सलों की जांच में पाया गया कि ज्यादातर पार्सल अमरीका, कनाडा और थाईलैंड से अहमदाबाद व अन्य शहरों के लिए भेजे गए थे। वैसे इससे पहले भी इस प्रकार के पार्सलों को क्राइम ब्रांच और साइबर क्राइम ब्रांच की टीम जब्त कर चुकी है। कुछ आरोपियों की भी गिरफ्तारी हुई है। ऐसे में उनकी इस मामले में लिप्तता है या नहीं उसकी जांच की जाएगी। इसके लिए इस संबंध में क्राइम ब्रांच के पीआई ने खुद शिकायतकर्ता बनते हुए एफआईआर दर्ज कराई है।

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